ज्ञानव्यापी मस्जिद परिसर में मिले शिवलिंग की सुरक्षा सुनिश्चित करे बनारस प्रशाशन/ मुसलमानों को नमाज पढ़ने की इजाजत- सुप्रीम कोर्ट
सर्वोच्च न्यायालय ने आज ज्ञानव्यापी मस्जिद- काशी विश्वनाथ मंदिर विवाद में अहम निर्देश देते हुए बनारस प्रशाशन को आदेश दिया है कि मस्जिद परिसर में पिछले तीन दिनों की सर्वे और वीडियोग्राफी के बाद मिले शिवलिंग के क्षेत्र को सील किया जाए और पूरी सुरक्षा दी जाए।
सर्वोच्च न्यायालय ने यह भी कहा कि मुसलमानों को मस्जिद में नमाज या अन्य धार्मिक कार्य करने से न रोका जाए और उनकी संख्या पर भी पाबंदी न लगाई जाए। निचली अदालत ने पहले मुस्लिमों द्वारा नमाज अदा करने की अधिकतम संख्या 20 रखी थी।
(ज्ञानव्यापी मस्जिद- परिसर में वजू करने के लिये स्थित तालाब जिसमें शिवलिंग मिला है।)
उल्लेखनीय है कि सर्वोच्च न्यायालय ,अंजुमन इंतेजामिया कमिटी जो 17 वीं शताब्दी की ज्ञानव्यापी मस्जिद का प्रबंधन कर रही है, की ओर से दाखिल याचिका पर आज सुनवाई कर रही थी।
मस्जिद प्रबंधन समिति ने बनारस कोर्ट द्वारा शिवलिंग को सील करने और सुरक्षा दिए जाने पर आपत्ति जताया था और समिति के सचिव ने कहा कि जो वजुखाना( वजू एक क्रिया है जिसमे नमाज पढ़ने से पहले हाथ, पैर , मुंह धोया जाता है) है जहां बड़ा पानी का टैंक है,वैसी व्यवस्था पुराने समय के मस्जिदों में होती थी। जो शिवलिंग मिला है वह वास्तव में पर्वत का टुकड़ा है, निचली अदालत ने मुस्लिम पक्षकारों का कुछ सुना ही नही और एक तरफा फैसला सुना दिया। इसलिए यह अपील सुप्रीम कोर्ट में कमिटी द्वारा दायर की गई ।
वैसे जो तीन दिवसीय सर्वे हुआ जिसमें वीडियो ग्राफी भी की गई है, इसे न होने देने के लिए भी इस मस्जिद प्रबंधन समिति ने सर्वोच्च न्यायालय में पहले से ही एक अपील दायर कर रखी है।
न्यायमूर्ति Y S Chandrachud और P S Narsimha ने अपीलकर्ता की उस याचिका को खारिज कर दिया जिसमें यह निवेदन था कि वाराणसी की न्यायालय में इस मामले को अगली तारीख मिलने तक आगे देखने से रोक दिया जाए।
सर्वोच्च न्यायालय ने वादी पक्ष को नोटिस जारी किया है जिसके कहने पर ट्रायल कोर्ट ने सर्वे करने का आदेश दिया और आगे की सुनवाई 19 मई को करने की जानकारी निर्देशित की है।
कल सोमवार को ही निचली अदालत ने उस तालाब को सील करने का निर्देश दे दिया था जब हिन्दू पक्ष के वकीलों द्वारा उस तालाब में शिवलिंग के पाए जाने की जानकारी दी।
ट्रायल कोर्ट ने निर्देशित किया कि वाराणसी के आयुक्त, जिला प्रशाशन शिवलिंग की सुरक्षा सुनिश्चित करे।
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