मुम्बई पुलिस की आंखों में आंसू, गरीब परिवार को दिया राशन ,आर्थिक मदद-अंटोप हिल पुलिस ने पेश की मानवता की मिसाल
अंटोप हिल, सायन कोलीवाड़ा क्षेत्र के रहिवासी भुल्लू मोतीलाल पटेल ,28 वर्षीय गुरुवार की शाम ८ बजे जब अंटोप हिल पुलिस थाने पहुंचकर वहाँ मौजूद अधिकारी को अपनी तकलीफ बताए कि कैसे वे और उनके चार बच्चे ,गर्भवती पत्नी पिछले ३ दिन से पानी पीकर जिंदा हैं , घर मे अनाज का एक दाना नही हैं। पेशे से ड्राइवर भुल्लू ने कहा कि उसका मालिक गांव गया है ,इसलिए भुल्लू के पास पैसे भी नही हैं।
पुलिस ने कुछ पैसे और खाना देकर घर जाने को कहा और अगली सुबह मोतीलाल नगर, कोकरी आगार बीट चौकी क्रमांक 3 पर मिलने को कह दिया।
कल शुक्रवार की सुबह कोकरी आगार चौकी में जब पुलिस उपनिरीक्षक पॉउलबुध्धे, पुलिसकर्मी होरमाने सहित अन्य भुल्लू के परिवार से मिले, बच्चे से पूछा तो पता चला पड़ोसियों से चावल मिला था जिसमे पानी डालकर उन्होंने पिया था।
दयनीय स्थिति को समझते हुए पुलिस अधिकारियों की आंखे नम हो उठीं।
तत्काल राहत देते हुए पुलिस ने इस परिवार को एक महीने तक का राशन ,चावल, दाल, गेहूं, तेल , मसाला, नमक आदि अपने खर्च से दिया और कोरोना से सावधानी की बातें भी बताई।
अंटोप हिल पुलिस वरिष्ठ निरीक्षक प्रशांत राजे स्वयं इस राहत कार्य मे कूद पड़े हैं और कई जगहों पर लोगों को खाना दे रहे हैं।
खबरे मुंबई पुलिस की इंसानियत को नमन करता है।
बॉर्डर पर हमारे आर्मी की सेना हमारे लिए हैं, और शहर में हमारे लिए ये पुलिस वाले अपने परिवार, अपनी जान की बिना परवाह किये हमारी सुरक्षा में लगे हैं।
मानवता का यह चेहरा पुलिस को अक्सर उस श्रेणी से अलग करता है जहां लोगों में पुलिस के नाम पर सिर्फ भय होता है।
पुलिस की यह संवेदनशीलता परिसर में चर्चा का विषय बनी हुई है।
इसी कड़ी में ३ दिन पहले ट्विटर पर एक दिव्यांग महिला के द्वारा पुलिस से मदद मांगने पर पुलिस कर्मचारी महज 25 मिनट में उस महिला के घर पहुंच गए और उसे अपेक्षित सहायता प्रदान की।
मुम्बई पुलिस सदरक्षणाय खलनिग्रहनाय की परिभाषा को चरितार्थ कर रही है।
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