0 विधान परिषद चुनाव को लेकर महाराष्ट्र में हलचल- शिवसेना से विधायको को किया पवई के होटल में शिफ्ट/20 जून को वि. प. के 10 सीटों के लिए होना है मतदान - Khabre Mumbai

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विधान परिषद चुनाव को लेकर महाराष्ट्र में हलचल- शिवसेना से विधायको को किया पवई के होटल में शिफ्ट/20 जून को वि. प. के 10 सीटों के लिए होना है मतदान

महाराष्ट्र में 20 जून को उच्च सदन विधान परिषद में रिक्त 10 सीटों के लिए चुनाव होने जा रहे हैं। इस चुनाव में  महाविकास आघाडी के अंतर्गत तीनों पार्टियां शिवसेना, राकांपा और कांग्रेस के दो दो उम्मीदवार मैदान में तो वही भाजपा से भी पांच उम्मीदवारों को मैदान में उतारा है। कुल मिलाकर 10 सीट के लिए ११ उम्मीदवार मैदान में हैं।

उत्तर प्रदेश की 13 सीटों पर और बिहार की 7 सीटों पर भी चुनाव होने जा रहे हैं /

महाराष्ट्र में भाजपा की ओर से विधान परिषद चुनाव की उम्मीदवारी में प्रसाद बालक श्रीकांत भारतीय प्रवीण दरेकर उमा खापरे व राम शिंदे खड़े हैं वही महा विकास आघाडी की तीनों पार्टियों से दो-दो उम्मीदवार मैदान में है।

शिवसेना ने पूर्व में महाराष्ट्र के  हाउसिंग मंत्री रहे व वरिष्ठ राकांपा नेता सचिन भाऊ अहीर एवम नंदुरबार की शिवसेना जिल्हा प्रमुख आमशा पाडवी को उम्मीदवार बनाया है।

राकांपा ने रामराजे निम्बालकर और भाजपा छोड़ राकांपा का दामन थामने वाले एकनाथ खडसे को उम्मीदवारी दी है।

हाल ही में राज्य में हुए राजसभा चुनाव में भाजपा ने करिश्माई जीत दर्ज की है जिससे सीख लेते हुए और और हतोत्साहित सत्ता पक्ष ने अपने विधायको को होटल में ठहरा दिया है, ताकि कोई समीकरण न बिगड़ जाए।

शिवसेना नेता देसाई ने कहा कि गुरुवार देर रात राज्य के पर्यावरण मंत्री आदित्य ठाकरे भी होटल में आए थे।सभी विधायकों को  विधान परिषद के लिए होने वाले चुनाव से संबंधित जानकारी देने के लिए एकत्रित किया गया था।

 क्या है मतों का समीकरण:

शिवसेना के पास ५५ विधायक हैं जबकि राकांपा के पास ५१ और कांग्रेस के पास ४४विधायक हैं ,इस तरह कुल मिलाकर सत्ता पक्ष के पास १६९विधायको का समर्थन है जिसमे निर्दलीय विधायक और अन्य छोटे दलों का भी समावेश है। एमआईएम, पीजीपी, सपा जैसी पार्टियों के दो- दो विधायको का समर्थन मविआ के पास है।

भाजपा के पास १०६ विधायक हैं। ७ निर्दलीय विधायको के सहयोग से 113 का आंकड़ा तय है। गौरतलब हो कि हाल ही में सम्पन्न हुए राज्यसभा चुनाव में भाजपा ने 123  विधायको का समर्थन हासिल किया था।

 क्या अंतर है राज्यसभा और विधान परिषद चुनाव में :

राज्यसभा चुनाव में विधायक गण अपने पार्टी एजेंट को दिखाकर मत दान करते हैं जबकि विधान परिषद का चुनाव गोपनीय होता है । इस नाते वि प चुनाव में क्रॉस वोटिंग की संभावना बढ़ जाती है।

अनुमान है कि विधायको की संख्या के चलते ५ में से ४सीट भाजपा आसानी से जीत जाएगी जबकि अन्य ५ वीं सीट के लिए उसे २२ मत और प्राप्त करने होंगे।
एक सीट जितने के लिए लगभग २७ मतों की जरूरत पड़ेगी । इस लिहाज से कांग्रेस सिर्फ एक ही उम्मीदवार जिता पाएगी।

कौन दे सकता है विधान परिषद चुनाव में वोट-

मनपा के नगरसेवक, ग्राम प्रधान, पंचायत समिति के सदस्यों द्वारा १/३ लोगों को चुना जाता है। ( कुल 22 सदस्य चुने जाते हैं)

एक तिहाई(१/३) लोग विधानसभा सदस्यों द्वारा चुने जाते हैं। ( कुल ३०)

तीन वर्षों से स्टैंडिंग रह रहे ग्रैजुएशन समिति के लोग १/१२ सदस्य चुनते हैं। ( कुल ७ डिवीजन से  ७ सदस्य चुने जाते हैं।)

1/१२ सदस्य उन शिक्षकों द्वारा चुने जाते हैं जो राज्य में  कम से कम तीन वर्षों से  माध्यमिक विद्यालय या महाविद्यालय में पढ़ा रहे हों। ( कुल 7 सदस्य)


१/६ सदस्य राज्यपाल द्वारा चयनित किये जाते हैं। ये सदस्य कला, साहित्य, खेल,  विज्ञान, समाज सेवा के क्षेत्र में विशेष भूमिका रखनेवाले होते हैं।( कुल 12 सदस्य मनोनीत किये जाते हैं।)

महाराष्ट्र में कुल ७८ विधान परिषद सदस्य हैं ।
सभी सदस्यों का कार्यकाल ६ वर्षों का होता है। विधान परिषद कभी भंग नही होती , इसके एक तिहाई- १/३ सदस्य हर दूसरे वर्ष निवृत्त होते रहते हैं और उनकी जगह नए सदस्य आते हैं। विधान परिषद के सभापति और उपसभापति का चयन, चुने हुए सदस्य मिलकर करते हैं।






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