कृपाशंकर सिंह का भाजपा में बढ़ता वर्चस्व- वाराणसी हवाई अड्डे पर पी एम मोदी से मुलाकात। मैं भाजपा का सिपाही हूँ-नेतृत्व जो कहेगा, वह करूंगा-सिंह
बीते दिनों अभी अभी हाल ही में भाजपा को जॉइन कर सुर्खियों में आये महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री व कांग्रेसी नेता कृपाशंकर सिंह को बनारस एयरपोर्ट पर पीएम मोदी के साथ देखा गया।
भाजपा में प्रवेश के बाद पहली बार प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र बनारस में आये कृपाशंकर सिंह ने यहां नदेसर में पत्रकारों से बातचीत की।
सिंह ने कहा कि कांग्रेस में रहकर उन्होंने हमेशा पार्टी द्वारा दी जिम्मेदारी को निभाया।
मोदी सरकार ने २०१९ में जम्मू कश्मीर से धारा ३७० को हटवाकर बेहद सराहनीय कार्य किया और उन्होंने खुलकर इसका समर्थन किया था। कांग्रेस का शीर्ष नेतृत्व समर्थन नही कर रहा था, इसलिए पार्टी छोड़ दी।
इसके बाद २१ महीने तक वह अध्यक्षा सोनिया गांधी को पत्र लिखकर इंतज़ार करते रहे कि वह समर्थन करेंगी, पर ऐसा नही हुआ। इस बीच वरिष्ठ नेतृत्व ने भी कहा कि वह पार्टी में फिर से आ जाएं, पर श्री सिंह ने जॉइन नही किया।
(बीते हफ्ते कृपा हुए भाजपा में शामिल, मुम्बई में इस समारोह में पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत दादा पाटिल, विधायक कालिदास कोलम्बकर , विधायक राज के पुरोहित सहित अन्य गणमान्य मौजूद रहे।)
भाजपा का माना एहसान, कहा- सिपाही हूँ, जो नेतृत्व कहेगा, करूंगा
सिंह ने कहा कि परस्पर विरोधी विचारधारा की पार्टी के व्यक्ति को जगह देकर भाजपा ने मुझ पर एहसान किया है। बता दें कि सिंह अनोपचारिक रूप से लगभग १ वर्ष से भाजपा के कई कार्यक्रमो में भी नजर आए, महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, प्रदेश उपाध्यक्ष प्रसाद लाड़, पूर्व राज्य कैबिनेट मंत्री आशीष सेलार आदि नेताओं से मुलाकात का दौर चलता रहा।
जॉइन करने से पहले कृपा गृहमंत्री अमित शाह ,पार्टी अध्यक्ष जे पी नड्डा से भी मिल चुके हैं।
सिंह ने कहा कि वह किसी स्वार्थ में भाजपा में नही आए हैं।पार्टी जो कहेगी, वह करेंगे और बिना किसी मांग या इच्छा के।
यूपी में अगले कुछ माह में विधानसभा चुनाव है।माना जा रहा है कि सिंह अपनी राजनीतिक पारी एक बार फिर पूर्वांचल से शुरू कर सकते हैं। जौनपुर जिले के बक्शा से सहोदरपुर ग्राम निवासी कृपाशंकर सिंह को शायद विधायकी में उतारा जा सकता है। सिंह ने हालांकि इन अटकलों से खुद को दूर करते हुए कहा कि वह किसी हानि लाभ के उद्देश्य से भाजपा में नही आये हैं।
विकास कार्यों से हुए प्रभावित:
सिंह ने अपना अनुभव बताया कि कैसे बाबतपुर अड्डे पर आने के बाद बनारस पहुंचने में लगनेवाला 1 घंटे का रास्ता अब १० से १५ मिनट में तय होता है। काशी विश्वनाथ का दरबार देखते ही बनता है।६ महीने बाद कितना अद्भुत स्वरूप होगा।
यूपी का हो रहा कायाकल्प:
सिंह ने बताया कि मुम्बई के लगभग १०० उद्योगपति आज यूपी के इंफ्रास्ट्रक्चर में विकास के लिए निवेश करना चाहते हैं।यह सकारात्मकता सरकार ने बनाई है। राम जन्मभूमि अयोध्या के सर्वांगीण विकास को देखते ही बनता है। अगले विधानसभा चुनाव में भाजपा को ४०० सीटें मिलेगी, ऐसा अनुमान सिंह ने लगाया है।
बता दें कि कृपा जी पहले राकांपा- कांग्रेस सरकार मे महाराष्ट्र के गृहमंत्री रह चुके हैं।मुम्बई कांग्रेस अध्यक्ष भी रहे। कलीना, सांताक्रुज से विधायक रहे हैं।उत्तर भारतीय समाज मे गहरी पैठ रही है।
आय से अधिक संपत्ति के मामले में प्रवर्तन निदेशालय के बल्लार्ड पियर मुम्बई कार्यालय का चक्कर भी काट चुके हैं।उन पर २०१५ में मुम्बई पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा ने चार्ज शीट फाइल की थी। यह कार्रवाई एक सामाजिक कार्यकर्ता द्वारा एन्टी करप्शन ब्यूरो व उच्च न्यायालय में जनहित याचिका दायर किये जाने के बाद हुई थी। हालांकि सेशंस कोर्ट ने उन्हें इस मामले में राहत दे दी थी। याचिका कर्ता संजय तिवारी ने पी आई एल देकर पूछताछ की मांग की थी कि कैसे यूपी के जौनपुर से मुंबई आकर सब्जी बेचनेवाले कृपाशंकर सिंह ने करोड़ो की संपत्ति बना ली थी। इसके बाद बांद्रा के निर्मल नगर थाने में प्राथमिकी रिपोर्ट दर्ज हुई थी जिसे बाद में ईओडब्ल्यू यानी आर्थिक अपराध शाखा को सौंप दिया गया था, जिसने २०१५ में चार्जशीट बनाई। नवम्बर २०१६ में सिंह के वकील एच के गिरी ने इस आरोप से बरी होने के लिए अपील की। दरअसल किसी भी मामले में सिंह के मामले में पूरी तरह से ठोस सबूत नही थे, इसलिए सिंह को इन आरोपों से कालांतर में बरी कर दिया गया।
सिंह मुम्बई के पालक मंत्री भी रह चुके हैं।
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